अब विश्व सत्ता की गुलामी को तैयार हो जाईये ! : Yogesh Mishra

श्रीमद् भागवत गीता में भगवान श्री कृष्ण ने कहा है कि इस पृथ्वी पर कोई भी जीव बिना कर्म किये रह ही नहीं सकता है ! लेकिन आधुनिक विज्ञान की मदद से अब जीव “कर्म विहीन अवस्था” में आधुनिक तकनीकि के वैज्ञानिकों की इच्छा से रह सकेगा !

अर्थात मेरे कहने का तात्पर्य यह है कि आगामी विश्व सत्ता आधुनिक विज्ञान की मदद से एक ऐसी तकनीक विकसित कर रही है ! जिसके तहत व्यक्ति के शरीर में एक चिपका प्रवेश कर दिया जायेगा ! फिर उस व्यक्ति का मस्तिष्क किसी अति आधुनिक कंप्यूटर से जुड़ जायेगा ! उस स्थिति में व्यक्ति के मस्तिष्क को जो कमांड दिया जायेगा ! वह व्यक्ति एक रोबोट की तरह ठीक वैसे ही कार्य करेगा और यदि उस कमांड से अलग हटकर कोई व्यक्ति कोई कार्य करता है तो ऑटोमेटिक वह कंप्यूटर उस व्यक्ति के मस्तिष्क को एक निश्चित अवधि के लिये निष्क्रिय कर देगा !

अर्थात वैज्ञानिकों की भाषा में कहा जाये तो हमारे मस्तिष्क के अंदर अरबों अरब न्यूरॉन्स की गतिविधियों से मस्तिष्क कार्य करता है ! यदि इन न्यूरॉन्स की गतिविधियों को ऑक्सीजन की कमी के कारण या अत्यधिक ठंडी या गर्म पैदा करके या फिर किसी विशेष तरह के रसायन का प्रवाह करके रोक दिया जाये तो हमारा मस्तिष्क एक मरी हुई निष्क्रिय डिवाइस के अलावा और कुछ नहीं रह जायेगा !

और अब विज्ञान इसी दिशा में कार्य कर रहा है कि विश्व सत्ता के लोग जब चाहे तब आपके मस्तिष्क को ऑन करके आपना मनचाहा कार्य ले लें और जब चाहे तब उसे ऑफ कर सकें ! जैसे हम ट्यूब लाइट को ऑन ऑफ करते हैं !

इस दिशा में एनाटॉमी टेक्नोलॉजी के वैज्ञानिक बहुत तेजी से विश्व सत्ता के निर्देशों पर कार्य करने में लगे हुये हैं !

अब वह दिन दूर नहीं जब जन्म लेते ही व्यक्ति के शरीर में एक विशेष डिवाइस का प्रवेश करवा दिया जायेगा और वह व्यक्ति मृत्यु के समय तक किसी रोबोट की तरह एक सुपर कंप्यूटर के निर्देश का पालन करता रहेगा !

यह नियंत्रण निकट भविष्य में विश्व की साम्राज्यवादी शक्तियों और पूंजीवादी विचारधारा की पराकाष्ठा का सर्वश्रेष्ठ उदाहरण होगा !

इसलिये अब बहुत ही कम समय के बाद हम अपने मस्तिष्क के और विचारों के स्वामी स्वयं नहीं रह जायेंगे ! हमारे मस्तिष्क और विचारों में अपनी इच्छा के अनुसार यूनीफामिटी लाने के लिये विश्व सत्ता के योजनाकार आधुनिक विज्ञान की मदद से लगे हुये है ! शायद यही अब भविष्य की जीवन शैली होगी !

यह सब कुछ इसी धरती पर हमारे आप जैसे मनुष्य ही वैज्ञानिक रूप में मनुष्य को एक मानसिक गुलाम बनाने की तैयारी में लगे हुये हैं ! शायद यही भविष्य के मनुष्य का भविष्य होगा, विश्व सत्ता की इच्छा पर !!

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योगेश कुमार मिश्र 

ज्योतिषरत्न,इतिहासकार,संवैधानिक शोधकर्ता

एंव अधिवक्ता ( हाईकोर्ट)

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