Category Dharmik Mahtav

पृथ्वी पर भगवान शिव के प्रतिनिधि हैं यह सभी पेड़-पौधे : Yogesh Mishra

वनस्पति उपासना यानि पेड़-पौधों की पूजा हमारे संस्कृति का मुख्य अंग है ! यह पद्घति अकारण नहीं शुरू हुई है ! पेड़ों से हमें आक्सीजन, भोजन और जल तीनों मिलता है और इन्हीं से हमारा जीवन चलता है ! ऐतरेय…

सनातन ज्ञान ही भारत को विश्व विजय दिला सकता है ! : Yogesh Mishra

मानव संस्कृत की विकास के साथ-साथ मनुष्य के द्वारा निर्मित हथियारों के स्वरूप में भी परिवर्तन आता रहा है ! आदि काल में मनुष्य शारीरिक शक्तियों को हथियारों के रूप में इस्तेमाल करता था ! कुछ ही काल बाद जब…

दशरथ राम के पिता नहीं पालनहार थे ! : Yogesh Mishra

महर्षि वाल्मीकि की रामायण के अनुसार राजा दशरथ अयोध्या के रघुवंशी कुल के सूर्यवंशी राजा थे ! वह इक्ष्वाकु कुल के थे तथा भगवान श्रीराम के पिता थे ! दशरथ के चरित्र में आदर्श महाराजा, पुत्रों को प्रेम करने वाले…

जानिए धर्म का अनुकरण क्यों करना चाहिये !! : Yogesh Mishra

भगवान श्री कृष्ण और बुद्ध दोनों ही कहते हैं कि आज आप जो भी हैं, वह आपके पिछले विचारों का परिणाम हैं ! विचार ही काल के प्रवाह में भाग्य बन जाते हैं ! इसका सीधा-सा मतलब यह है कि…

883 वर्षों से संरक्षित है स्वामी रामानुजाचार्य का शरीर : Yogesh Mishra

वैष्णव परंपरा के महान दार्शनिक और विशिष्ट द्वेत के प्रतिपादक “रामानुजाचार्य” का मूल शरीर तिरुचरापल्ली के श्रीरंगनाथ स्वामी मंदिर मे संभाल कर रखा गया है ! यह शरीर करीब 1137 वर्ष पूर्व का जिसे आज तक सँजो का रखा गया…

सुन्दरकाण्ड सब कुछ सुन्दर कर सकता है !! Yogesh Mishra

शाबर तंत्र पर आधारित राम चरित मानस में सुन्दरकाण्ड एक ऐसा छंद पाठ है, जो की हर प्रकार की बाधा और परेशानियों को समाप्त कर देने में पूर्णतः समर्थ है ! आजकल के व्यस्तता भरे दिनचर्या में बहुत अधिक समय…

जानिए आध्यात्म में भस्म का महत्व क्या है !

आपके शरीर में, सात मूल केंद्र हैं जो जीवन का अनुभव करने के सात आयामों को दर्शाते हैं ! इन केंद्रों को चक्र कहा जाता है ! चक्र, ऊर्जा प्रणाली के भीतर एक खास मिलन बिंदु होते हैं ! इन…

काशी जहाँ लोग मरने आते हैं !! अवश्य पढ़ें !

काशी नगरी वाराणसी स्थित एक पौराणिक नगरी है ! माना जाता है कि ये संसार की सबसे पुरानी नगरी है ! विश्व के सबसे प्राचीन ग्रन्थ ऋग्वेद में भी काशी का उल्लेख किया गया है ! मान्यता है कि विश्वनाथ…

सम्पूर्ण 745 श्लोकी श्रीमद्भगवद्गीता विश्व में कहाँ-कहाँ है !

गीता के बारे में सबसे विचारणीय बात यह है कि वर्तमान में ‘श्रीमद्भगवद्गीता’ की जो प्रचलित प्रतियां हैं, उसमें गीता के केवल 700 श्लोक हैं ! जबकि महाभारत में स्वयं 745 श्लोकी गीता का वर्णन करते हुए एक स्थान पर…

अन्नप्राशन एक अहम संस्कार है , जानिए क्या है इसका महत्व !

अन्नप्राशन हिंदू धर्म में कुल 16 संस्कारों का वर्णन हैं, जिनमें से अन्नप्राशन एक अहम संस्कार है। 16 संस्कारों में इसे सातवां संस्कार माना गया है। इस संस्कार के साथ बच्चे को अन्न खिलाना शुरू किया जाता है। देशभर के…