Shaivism & Vaishnavism

अशांति के देवता शांति कैसे दे सकते हैं : Yogesh Mishra

विचार करो आप शांति के लिये किसकी पूजा कर रहे हो ! जिन्हें वैष्णव भगवान कहकर पूजते हैं, वह सभी तो वैष्णव धर्म प्रचारक, अवसरवादी, कलह प्रिय, आक्रांता, योद्धा या कूटनीतिज्ञ थे ! जिन लोगों ने अपने संपूर्ण जीवन में धूर्तता, मक्कारी, कलह, विश्वासघात, का सहारा लिया क्या मंदिरों में …

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क्या वैष्णव विपरीत संस्कृति के हैं : Yogesh Mishra

हिंदुओं को सदैव से यह शिकायत रही है कि मुसलमानों की जीवन शैली हिंदुओं के एकदम विपरीत है ! इसी आधार पर मुसलमानों ने मोहम्मद अली जिन्ना के नेतृत्व में पाकिस्तान की मांग की थी ! जिसे तत्कालीन अंग्रेज सरकार ने स्वीकार भी कर लिया था ! लेकिन भारत के …

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वैष्णव भक्ति क्यों अधूरी है : Yogesh Mishra

आपरिपक्व वैष्णव लेखकों का मत है कि कलयुग में व्यक्ति की बुद्धि और सामर्थ्य कम हो जाने के कारण व्यक्ति मात्र भक्ति के द्वारा ही ईश्वर को प्राप्त कर सकता है ! यह दर्शन या विचारधारा पूरी तरह से अपूर्ण है ! शैव जीवन शैली में दो आयामों के मिलन …

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विश्व के मानचित्र में असुरों का योगदान : Yogesh Mishra

इस पृथ्वी का सबसे पहला नक्शा ईसा से 9,323 पूर्व सूर्य सिद्धान्त के आधार पर रावण के ससुर अर्थात मंदोदरी के पिता असुर राज राजा मय द्वारा बनाया गया था ! इसी तरह इसी के समकालीन रावण के भाई कुंभकरण ने भी अन्तरिक्ष यात्रा हेतु सम्पूर्ण अन्तरिक्ष का नक्शा तैय्यार …

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पूतना वध का भ्रम : Yogesh Mishra

भगवान श्री कृष्ण की छठी पर विशेष लेख आज भगवान श्री कृष्ण की छठी है ! वैष्णव पुराणों के अनुसार आज ही के दिन भगवान श्री कृष्ण ने पूतना का वध किया था ! पर प्रश्न यह है कि यह पूतना थी कौन ? और भगवान श्री कृष्ण को इस …

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ईसाईयों का छद्म धर्मांतरण वैष्णव की देन है : Yogesh Mishra

आजकल विशेष रुप से आये दिन यह सूचना प्राप्त होती है कि ईसाई समाज लोगों को मूर्ख बना कर धर्मांतरण करवा रहा है ! कई उदाहरण तो ऐसे भी मिलते हैं कि जिस क्षेत्र में व्यक्तियों की शारीरिक बनावट जिस तरह की है, वहां पर ईसाई समाज ईसा मसीह की …

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शिव सहस्त्रार ज्ञान के अतिरिक्त सृष्टि के सभी धर्म ग्रन्थ अधूरे हैं : Yogesh Mishra

शैव जीवन शैली में भगवान शिव ने रावण की योग्यता, क्षमता, प्रतिभा और पात्रता को देखते हुये, जो संपूर्ण सृष्टि का ज्ञान रावण को शिव सहस्त्रार ज्ञान के रूप में दिया था ! वह जीव कल्याण के लिये एकमात्र अपने आप में संपूर्ण ज्ञान है ! इसके अतिरिक्त सृष्टि में …

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शिव सहस्त्रार ग्रन्थ का महत्व : Yogesh Mishra

शिव सहस्त्रार एक तमिल भाषा में श्रुति और स्मृति के आधार पर संग्रहित किया गया ऐसा ग्रंथ है, जो राम रावण युद्ध के बाद विलुप्त हो गया ! लेकिन इसका बहुत बड़ा अंश तमिल लोकगीतों में बहुत समय तक चर्चा में रहा ! जन श्रुतियों के अनुसार इस संपूर्ण ग्रंथ …

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महाभारत धर्म युद्ध नहीं बल्कि पारिवारिक युद्ध था : Yogesh Mishra

यह एक बहुत बड़ी भ्रांति है कि महाभारत युद्ध में पूरे विश्व के राजा अपनी अपनी सेनाओं के साथ लड़े थे, जबकि सत्यता यह है कि महाभारत युद्ध में भाग लेने वाले राजा मात्र आर्यावर्त अर्थात प्राचीन भारत के ही थे ! जिसमें भी बहुत से राजाओं ने इस महाभारत …

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राम को इंसान से भगवान बनाने की कोशिश : Yogesh Mishra

भगवान श्री राम न ही इंसान है और न ही भगवान हैं ! भगवान श्रीराम का व्यक्तित्व एक ऐसा व्यक्तित्व है जिसे आप इंसान के दृष्टिकोण से देखें तो वह एक मर्यादा पुरुषोत्तम इंसान के रूप में नजर आते हैं लेकिन इसके विपरीत यदि आप उन्हें भगवान के रूप में …

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