इसमें कोई शक नहीं कि प्रकृति ने मनुष्य को प्रगट ही नहीं किया बल्कि उसे पोषित और उन्नत भी किया है ! यदि प्रकृति का सहयोग न होता तो मनुष्य प्रगट होने के बाद भी कीट पतंगों की तरह जीवन जी का मर जाता ! हो सकता है कि मनुष्य …
Read More »स्वघोषित संत ही धर्म के सर्वनाश का कारण हैं : Yogesh Mishra
बहुत से लोग बड़े-बड़े संतों का नाम लेकर मुझसे राय पूंछते हैं कि इन लोगों ने अपना पूरा जीवन राम और कृष्ण को ईश्वर मानते हुये समर्पित कर दिया और आप राम और कृष्ण को मात्र महापुरुष मानते हैं ! ईश्वर नहीं ऐसा क्यों है ? अब यहां पर दो …
Read More »सोशल मीडिया के लिये सख्त कानून की जरूरत क्यों है : Yogesh Mishra
आज भारत के अंदर 30 करोड़ लोग फेसबुक, व्हाट्सएप आदि सोशल मिडिया से जुड़े हुए हैं ! जो दुर्भाग्यवश अपने को परम ज्ञानी समझते हैं ! लेकिन इसके बाद भी वह लोग सुबह से शाम तक आर्थिक तंगी से जूझते रहते हैं ! किसी के पास खाने को सम्मानजनक तरीके …
Read More »समपन्नता के लिये मात्र सोच बदलीये बस ! : Yogesh Mishra
“गरीबी बहुत-सी आर्थिक परिस्थितियों का परिणाम है इसलिए अपनी गरीबी की समस्या को हल करने के लिए स्वयं की सोच पर सर्वाधिक कार्य करने की जरूरत है ! भारत में गरीबी सदैव से एक बड़ी चुनौती बनी रही है ! गरीबी का सम्बन्ध केवल आय या कैलोरी से जोड़कर करना …
Read More »अशांति के देवता शांति कैसे दे सकते हैं : Yogesh Mishra
विचार करो आप शांति के लिये किसकी पूजा कर रहे हो ! जिन्हें वैष्णव भगवान कहकर पूजते हैं, वह सभी तो वैष्णव धर्म प्रचारक, अवसरवादी, कलह प्रिय, आक्रांता, योद्धा या कूटनीतिज्ञ थे ! जिन लोगों ने अपने संपूर्ण जीवन में धूर्तता, मक्कारी, कलह, विश्वासघात, का सहारा लिया क्या मंदिरों में …
Read More »सभी धर्म ग्रन्थ परमात्मा की प्रार्थना से ही क्यों शुरू होते हैं : Yogesh Mishra
जीवन में सत्य को खोजने के दो ही मार्ग हैं ! एक विज्ञान का मार्ग है ! आक्रमण, हिंसा, शोध, छीना-झपटी अर्थात संवेदना और भावना विहीन मार्ग और दूसरा स्वीकार्य और समर्पण का मार्ग ! सनातन धर्म के अनुसार यदि ईश्वर के रहस्य को समझना है तो आप को स्वीकार्य …
Read More »शिव सहस्त्रार ज्ञान साधना ही सर्वश्रेष्ठ है : Yogesh Mishra
शिव सहस्त्रार ज्ञान साधना स्वयं में संपूर्ण साधना है ! इस साधना को करने वाले मानव साधक को अपने कल्याण के लिये किसी भी अन्य सहयोगी साधना पद्धति की आवश्यकता नहीं है ! यह ज्ञान परंपरा मनुष्य का कल्याण इस पृथ्वी पर ही नहीं बल्कि परलोक में भी करती है …
Read More »ओशो के सचिव आनंद शीला की कथा : Yogesh Mishra
मां आनंद शीला का असली नाम शीला अंबालाल पटेल है ! मूल रूप से गुजरात के बड़ौदा के कुर्मी समाज से ताल्लुक रखती हैं ! 18 साल की उम्र में अमेरिका पढ़ने के लिए गईं ! वहीं पर शादी भी की और 1972 में आध्यात्मिक अध्ययन के लिए अपने पति …
Read More »समाज को अपराध के लिये भटकता बॉलीवुड : Yogesh Mishra
आधुनिकता के नाम पर पिछले बीस सालों में अधनंगी तथाकथित अभिनेत्री जिन्हें आप “छाया वेश्या” भी कह सकते हैं ! उनके स्तन, नितम्ब कटिप्रदेश और नंगी टांगों को दिखा कर धन कमाने वाले दलाल जिन्हें आप फिल्मों के डायरेक्टर और प्रोड्यूसर कहते हैं ! उन्हें स्वस्थ मानसिकता के लोगों ने …
Read More »कालिदास का अहंकार : Yogesh Mishra
कालिदास जी पर माता काली की बड़ी विशेष कृपा थी, इसलिए उनका नाम कालिदास पड़ा था ! अर्थात वह स्वयं को माता काली के दास समझा करते थे ! वह मानते थे कि माता काली की कृपा से कुछ भी पाया जा सकता है ! क्योंकि उन जैसे मूर्ख व्यक्ति …
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