Tag Archives: hindutva

राम ने रावण की हत्या की थी या उसका वध किया था ! Yogesh Mishra

हत्या और वध में अंतर होता है ! हत्या का तात्पर्य है कि जब किसी व्यक्ति को बिना किसी कारण, बिना किसी दोष के जान से मार दिया जाता है तो उसे हत्या कहते हैं ! इस तरह की हत्या करने वाले व्यक्ति को धर्म और विधि दोनों ही दण्डित …

Read More »

वैष्णव संस्कृति के विस्तार के लिये निर्मित व प्रचारित की गई थी “सत्य नारायण व्रत कथा” ! Yogesh Mishra

स्कंद पुराण के रेवाखंड में वर्णित सत्यनारायण व्रत कथा का वर्णन न तो रामायण में मिलता है और न ही महाभारत में मिलता है अर्थात भगवान श्री कृष्ण के काल तक सत्यनारायण व्रत कथा समाज में लोकप्रिय नहीं थी ! भगवान श्री कृष्ण के पृथ्वी लोक से गमन के उपरांत …

Read More »

शैव और वैष्णव संस्कृति के झगड़ो के कारण शुरू हुई सती प्रथा | Yogesh

स्कंद पुराण के अनुसार एक बार लोमस ऋषि ने ऋषियों को बतलाया कि राजा दक्ष प्रजापति की बेटी “सती” ने पिता की इच्छा के विरुद्ध भगवान शिव से विवाह कर लिया ! विवाह उपरांत जब राजा दक्ष ने यज्ञ का आयोजन किया तो उसमें अपनी बेटी सती को नहीं बुलाया …

Read More »

मात्र मंत्र, संविधा और हवन सामग्री से किये गये यज्ञ से “ज्ञान यज्ञ” अधिक श्रेष्ठ है ! Yogesh Mishra

यज्ञ का तात्पर्य मात्र किसी विशेष लकड़ी की संविधा में अग्नि को जलाकर उसमें कुछ विशेष मंत्रों के साथ हवन सामग्री की आहुति करना नहीं है !यज्ञ अनेकों प्रकार के होते हैं कुछ यज्ञ प्रत्यक्ष दिखाई देते हैं कुछ यज्ञ से हैं जो बाहर तो प्रत्यक्ष नहीं दिखाई देते लेकिन …

Read More »

मनुष्य के मस्तिष्क में ईश्वर की उत्पत्ति कैसे हुई ! Yogesh Mishra

वैदिक युग सांसारिक आनंद एवं उपभोग का युग था ! मानव मन की निश्चिंतता, पवित्रता, भावुकता, भोलेपन व निष्पापता का युग था ! जीवन को संपूर्णता से जीना ही उस काल के लोगों का प्रेय व श्रेय था ! प्रकृति के विभिन्न मनोहारी स्वरूपों को देखकर उस समय के लोगों …

Read More »

भारत को आतंक से लड़ना इजराइल से सीखना होगा ! Yogesh Mishra

जम्मू-कश्मीर में कल गुरुवार को अब तक का सबसे बड़ा आतंकी हमला हुआ ! जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर अवंतीपोरा के पास गोरीपोरा में हुए हमले में सीआरपीएफ के 44 जवान शहीद हो गये ! लगभग दो दर्जन जवान जख्मी हैं ! इनमें से कई की हालत गंभीर है ! हमले …

Read More »

“वैष्णव संतों” की अच्छी मार्केटिंग ने निगल ली, भारतीय तपस्वीयों की “शैव उपासना” पध्यति

कभी आपने विचार किया कि अधिकांश विख्यात सन्त “वैष्णव उपासक” ही क्यों थे और शैव तपस्वीयों को असुर या राक्षस, दानव, पिशाच, गंधर्व, आदिवासी आदि क्यों कहा जाता था ! यह कुछ और नहीं बस वैष्णव समाज की मार्केटिंग थी ! वैष्णव संस्कृति के पोषक जब भारत आये और सरजू …

Read More »

महाभारत धर्म युद्ध नहीं भारत के महा विनाश का युद्ध था ! Yogesh Mishra

पाण्डवों और कौरवों ने अपनी सेना के क्रमशः 7 और 11 विभाग अक्षौहिणी में किये ! एक अक्षौहिणी में 21,870 रथ, 21,870 हाथी, 65,610 सवार और 1,09,350 पैदल सैनिक होते हैं ! यह प्राचीन भारत में सेना का माप हुआ करता था ! हर रथ में चार घोड़े और उनका …

Read More »

काल्पनिक मनुवादीयों की ओट में ब्राह्मणों के अस्तित्व पर वास्तविक हमला | Yogesh Mishra

क्या कोई मनुस्मृति विरोधी यह बतला सकता है कि मनुस्मृति के आधार पर कब-कब, किन-किन राजाओं ने शासन चलाया है ! जिन के शासनकाल में दंड व्यवस्था मनुस्मृति के आधार पर निर्धारित की जाती रही हो और मनुस्मृति का सहारा लेकर ब्राह्मणों ने शूद्रों का शोषण किया हो ! यह …

Read More »

जानिये कैसे आर्यों के भय से विकसित हुई थी “वैदिक यज्ञ पद्धति”| Yogesh Mishra

आज से हजारों साल पहले जब मनुष्य प्रकृति के विषय में अज्ञानी था और मनुष्य को अपने को सुरक्षित और संरक्षित करने के संसाधन उसके पास नहीं थे ! तब वह प्राय: प्राकृतिक आपदाओं का शिकार हो जाया करता था ! कभी भयंकर तपती गर्मी में उसके प्राण पखेरू उड़ …

Read More »